नशा दवाइयों से नहीं बल्कि दिल के निश्चय से छूटता है: एसडीएम सत्यवान मान

राजकीय मॉडल संस्कृति सीनियर सैकेंडरी स्कूल में नशामुक्ति पर सेमीनार आयोजित

एस• के• मित्तल
सफीदों,      नगर के राजकीय मॉडल संस्कृति सीनियर सैकेंडरी स्कूल में मंगलवार को नशा मुक्ति पर सेमिनार का आयोजन किया गया। इस सेमीनार में बतौर मुख्यातिथि एसडीएम सत्यवान सिंह मान ने शिरकत की। इस मौके पर सिटी थाना प्रभारी सुरेश कुमार, प्रिंसिपल योगेंद्रपाल, स्पेशल एजुकेटर गुरनाम सिंह, हरिओम, प्रेमप्रकाश व अजीतपाल विशेष रूप से मौजूद थे। सेमिनार में जहां विद्यार्थियों को नशे से दूर और उसके दुष्परिणामों के बारे में बताया गया।
वहीं युवा वर्ग में फैल रही नशे जैसी विकृति को कैसे रोका जाए, इस पर विचार-विमर्श किया गया। अपने संबोधन में एसडीएम सत्यवान सिंह मान ने विद्यार्थियों को नशा से बचने के लिए प्रेरित करते हुए कहा कि नशा दवाइयों से नहीं छूटता बल्कि दिल के निश्चय से छूटता है। नशा एक ऐसी बीमारी बन चुकी है, जिसकी जड़े बहुत ज्यादा घरों तक पहुंच चुकी हैं। यह बुराई समाज में भयंकर रूप धारण कर रही है। आज के समय में युवा नशे की तरफ दौड़ रहा है। समाज से इसको उखाड़ फेंकने के लिए हम सभी को योगदान देना होगा। एसडीएम ने कहा कि हम सबको मिलकर प्रयास करने होंगे ताकि नशे से छुटकारा युवाओं को नारकीय जीवन से बाहर निकाला जा सके।
उन्होंने कहा कि नशे की शुरुआत के आरंभ में चाव, इच्छा शक्ति, समाज या तनाव के कारण होती है। जब हम इस प्रकार के दोस्तों के बीच में रहते हैं जो नशे के आदी हैं या तनाव से बचने के लिए नशे की तरफ जाते हैं तो यह हमारी आदत बन जाती है। नशा हमारे लिए अभिशाप है, जो हमें शारीरिक, मानसिक, व आर्थिक रूप से नुकसान पहुंचाता है। इसलिए हम सभी का नैतिक फर्ज बनता है नशे के प्रति बच्चों व युवाओं को बचाएं। एसडीएम ने कहा कि बच्चों व युवाओं को पढ़ाई व खेलों में ज्यादा ध्यान देना चाहिए। नशे से दूर रखने में खेलों का भी अहम योगदान होता है। एसडीएम ने इस स्कूल के उपमंडल स्तर पर पहला स्थान प्राप्त पर स्कूल स्टाफ व बच्चों को सम्मानित किया।

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