गुरुग्राम-चंडीगढ़ और पंजाब में वकीलों के ठिकानों पर एनआईए की रेड़ से हरियाणा के वकीलों में गुस्सा है। NIA के विरोध की चिंगारी करनाल CM सिटी भी पहुंची। करनाल बार एसोसिएशन ने वर्क सस्पेंड कर दिया। वर्क सस्पेंड होने की वजह से कोर्ट में आने वाले लोगों को भी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
बता दें कि मंगलवार को NIA की टीमों ने गैंगस्टरों के घरों पर छापेमारी की थी। जिसमें NIA की टीमों ने गुरुग्राम, चंडीगढ़ और बठिंडा में वकीलों के यहां पर भी रेड डाली। जिससे हरियाणा के वकीलों में विरोध की चिंगारी फूट पड़ी। बुधवार को करनाल के वकीलों ने वर्क सस्पेंड कर दिया।
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वकीलों की माने तो NIA ने बिना किसी कारण गुरुग्राम, चंडीगढ़ व बठिंडा में वकीलों के यहां रेड की है। यदि कोई वकील नारकोटिक्स और NDPS से जुड़े मुकदमे हैंडल करते हैं तो उसका यह मतलब नहीं है कि वे अपराधियों के साथ मिले हुए हैं या फिर नशा तस्करी का काम करते हैं। क्रिमिनल केसों की पैरवी करना वकील का पेशा है और अगर वकीलों के साथ इस तरह से होने लगा तो कौन काम करेगा। वकीलों का कहना है कि NIA ने बिना किसी सबूत और जांच पड़ताल किए कार्रवाई की। वकीलों में इस कार्रवाई से पूरा रोष है।
उन्होंने कहा कि जो वर्क सस्पेंड किया गया है वह पंजाब, हरियाणा चंडीगढ़ का नहीं है बल्कि पूरे देश का कॉल है। जिस तरह से NIA वकीलों के ऑफिसों में छापेमारी कर रही है और उन्हें बिना बात परेशान किया जा रहा है। एनआईए के पास ऐसा कोई भी सबूत नहीं है कि वे ड्रग्स एडिक्ट के साथ मिले हुए हैं। कोई वकील किसी अपराधी का केस टेकल कर रहा है तो इसका मतलब यह नहीं है कि वह खुद भी अपराधी है। इस तरह से वकीलों के ऑफिसों में रेड नहीं की जा सकती।
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वकील को आया हार्ट अटैक
करनाल बार चैंबर में वरिष्ठ वकील विक्रम कुमार को अचानक हार्ट अटैक आ गया। जिसके बाद वकील को एंबुलेंस में अस्पताल ले जाया गया। बताया जा रहा है कि विक्रम कुमार अपने चैंबर में बैठे हुए थे। इसी दौरान उन्हें दिल का दौरा पड़ा। जिसके बाद बार चैंबर में अफरा तफरी मच गई। वकील को आनन फानन में अस्पताल ले जाया गया। जहां पर उनका उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई।