हरियाणा की एयर क्वालिटी पॉलिसी तैयार: दिल्ली-NCR के वायु प्रदूषण का होगा परमानेंट सॉल्यूशन, CM बोले- काम में लगें अफसर

 

CM मनोहर लाल के निर्देश के बाद चीफ सेक्रेटरी संजीव कौशल ने बैठक कर अफसरों को डायरेक्शन जारी कर दिए हैं।

हरियाणा ने कमीशन फॉर एयर क्वालिटी मैनेजमेंट पॉलिसी (CAQM) तैयार कर ली है। अब दिल्ली- NCR क्षेत्र में होने वाले एयर पॉल्यूशन का परमानेंट सॉल्यूशन होगा। CM मनोहर लाल खट्‌टर ने कहा है कि पॉलिसी को जमीनी स्तर पर लागू करके एयर पॉल्यूशन के स्तर में कमी लाई जाएगी। इसके लिए जिन अफसरों को जिम्मेदारी दी गई है, वह अपने-अपने काम को पूरा करने में लग जाएं।

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डस्ट, सॉलिड वेस्ट पर रहेगी नजर
पॉलिसी के तहत इंडस्ट्री, ट्रांसपोर्ट, कंस्ट्रक्शन, सडक़ों और ओपन एरिया से डस्ट, सॉलिड वेस्ट और पराली जलाने की घटनाओं पर नजर रखी जाएगी। पॉलिसी में थर्मल पावर प्लांट, स्वच्छ ईंधन और इलेक्ट्रिक मोबिलिटी, सार्वजनिक परिवहन, रोड ट्रांसपोर्ट मैनेजमेंट, डीजल जनरेटर, हरियाली और प्लांटेशन के जरिए से एयर पॉल्यूशन को कम करने के उपायों पर जोर दिया गया है।

अर्बन डिपार्टमेंट को यह काम करना होगा
हरियाणा के अर्बन डिपार्टमेंट का काम तय कर दिया गया है। MSW और लैंडफिल में आग जलाने की घटनाओं पर नियंत्रण, सी एंड डी परियोजनाओं से डस्ट मैनेजमेंट, प्रभावी धूल नियंत्रण उपायों की निगरानी, सी एंड डी अपशिष्ट प्रसंस्करण सुविधा के लिए योजना बनाएगा। साथ ही बुनियादी ढांचे का भी विकास करेगा। सड़कों और ओपन एरिया से डस्ट रोकने, स्वीपिंग और छिड़काव मशीनों की व्यवस्था, खुले क्षेत्रों को हरा-भरा करना होगा।

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इंडस्ट्री डिपार्टमेंट इन पर रखेगा नजर
इंडस्ट्री डिपार्टमेंट औद्योगिक कचरा जलाने से रोकने के लिए प्लानिंग करेगा। स्वच्छ ईंधन में परिवर्तन, इलेक्ट्रिक मोबिलिटी और जनरेटर सेट का सीमित उपयोग सुनिश्चित कराएगा। एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट द्वारा राज्य में पराली जलाने की घटनाओं में कमी लाने के लिए फसल अवशेष प्रबंधन के लिए एक्स सीटू तथा इन-सीटू प्रबंधन सहित समुचित व्यवस्था की जा रही है।

शहरों में बनेंगे सिटी फॉरेस्ट
पॉलिसी के तहत सूबे में ग्रीनरी, प्लांटेशन प्रोग्राम को बढ़ावा देने के लिए सिटी फॉरेस्ट और नगर वाटिका का विस्तार किया जाएगा। सीमित शहरी क्षेत्रों में सघन वृक्षारोपण के लिए मियावाकी तकनीक का उपयोग करने पर भी विचार किया जा रहा है। इसके अलावा, सामूहिक वृक्षारोपण अभियान के लिए व्यापक जागरुकता अभियान भी चलाए जाएंगे।

 

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