ED का दावा- बंगाल में 1000 लोगों ने घेरा: मारने के इरादे से अटैक किया; 3 के सिर फोड़े; TMC नेता के घर रेड डालने गए थे

कोविड के दौरान हुए राशन घोटाले मामले में ED की टीम टीएमसी नेता के घर रेड डालने पहुंची थी। इसी दौरान ग्रामीणों ने उन पर हमला कर दिया। ईडी अधिकारियों को गंभीर चोट आई है।

पश्चिम बंगाल के साउथ 24 परगना जिले में शुक्रवार को ED और CRPF की टीम पर हुए हमले को लेकर जांच एजेंसी ने बयान जारी किया है। ED ने सोशल प्लेटफॉर्म एक्स में लिखा कि 800 से लेकर 1000 तक की भीड़ ने मारने के इरादे से अटैक किया था। भीड़ के पास लाठियां, पत्थर, ईंट जैसे हथियार थे। एजेंसी ने कहा कि इस हमले में उनके 3 अधिकारियों को गंभीर चोटें आई हैं। फिलहाल उनका इलाज जारी है।

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अधिकारियों ने बताया कि मोबाइल फोन, लैपटॉप, नकदी और वॉलेट भी छीन लिया गया है। इसके अलावा उनके वाहनों को भी बुरी तरह से क्षतिग्रस्त किया है।

ED का कहना है कि उसने आरोपियों के खिलाफ स्थानीय पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई है। एजेंसी की टीम पर उस समय हमला हुआ, जब वे नॉर्थ 24 परगना जिले के संदेशखली में TMC नेता शेख शाहजहां के घर की तलाशी लेने गए थे।

केंद्रीय एजेंसी ED ने शुक्रवार की रात 8 बजकर 46 मिनट पर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर बयान जारी किया।

केंद्रीय एजेंसी ED ने शुक्रवार की रात 8 बजकर 46 मिनट पर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर बयान जारी किया।

राज्यपाल बोस ने घटना पर नाराजगी जताई
बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने इस घटना पर नाराजगी जाहिर की। उन्होंने हमले को खतरनाक बताते हुए कहा- बंगाल बनाना रिपब्लिक नहीं है। सरकार को राज्य में यह बर्बरता रोकनी चाहिए।

इसके साथ ही राज्यपाल ने बंगाल के DGP और गृह सचिव को तलब किया। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा- अगर सरकार अपने मूल कर्तव्यों को निभाने में असफल रहती है तो भारत का संविधान अपना काम करेगा। उधर, बीजेपी ने ममता बनर्जी ने इस्तीफा देने की मांग की है। साथ ही राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने की मांग की है।

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बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस हमले में घायल ED अधिकारियों का हालचाल जानने शुक्रवार शाम कोलकाता के अस्पताल पहुंचे।

बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस हमले में घायल ED अधिकारियों का हालचाल जानने शुक्रवार शाम कोलकाता के अस्पताल पहुंचे।

अब पढ़ें ED पर हमला कब हुआ?
न्यूज एजेंसी PTI के मुताबिक, ED की टीम शुक्रवार को राशन घोटाला मामले में राज्य के 15 ठिकानों पर रेड किया। टीम साउथ 24 परगना जिले के संदेशखली गांव में तृणमूल कांग्रेस (TMC) नेता शेख शाहजहां और बोंगांव नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष शंकर आध्या के घर रेड के लिए पहुंची थी। तो तृणमूल समर्थकों ने उन्हें घेर लिया और उन पर हमला कर दिया।

शेख शाहजहां उत्तर 24 परगना जिला परिषद के मत्स्य एवं पशु संसाधन अधिकारी होने के साथ-साथ संदेशखाली का ब्लॉक अध्यक्ष भी है। वह राज्य के वन मंत्री ज्योतिप्रिय मल्लिक का करीबी भी है। मल्लिक खुद राशन घोटाले में जेल में बंद हैं।

ED के अफसरों ने बताया कि टीम पर हमला तब हुआ, जब शाहजहां के घर का ताला तोड़ा जा रहा था। टीम ने शाहजहां को कई बार फोन कर बुलाने की कोशिश की, लेकिन वह नहीं आए। जिले के SP से भी बात करने की कोशिश की गई, लेकिन उन्होंने भी बात नहीं की।

ग्रामीणों ने अधिकारियों और CRPF की गाड़ियां भी तोड़ दी हैं।

ग्रामीणों ने अधिकारियों और CRPF की गाड़ियां भी तोड़ दी हैं।

राज्यपाल ने गृह सचिव और DGP को तलब किया
पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने घटना की जानकारी मिलने के बाद राज्य के गृह सचिव और DGP को तलब किया है। बोस ने कहा- यह एक भयानक घटना है। यह चिंताजनक और निंदनीय है। लोकतंत्र में बर्बरता और बर्बरता को रोकना एक सभ्य सरकार का कर्तव्य है। यदि कोई सरकार अपने मूल कर्तव्य में विफल रहती है, तो भारत का संविधान अपना काम करेगा।

वन मंत्री ज्योतिप्रिय मलिक गिरफ्तार किए जा चुके हैं
ED ने कथित राशन घोटाले मामले में 26 अक्टूबर 2023 को ममता सरकार के वन मंत्री ज्योतिप्रिय मलिक के ठिकानों पर रेड की थी। इसके बाद 27 अक्टूबर को उन्हें गिरफ्तार कर लिया था। ज्योतिप्रिय मलिक वन मंत्री बनने से पहले खाद्य मंत्री रह चुके हैं।

ज्योतिप्रिय की गिरफ्तारी के पहले ED ने इसी मामले में चावल मिल मालिक बकीबुर रहमान को गिरफ्तार किया था। 2004 में एक चावल मिल मालिक के रूप में अपना करियर शुरू करने वाले रहमान ने अगले दो वर्षों में तीन और कंपनियां खड़ी कर लीं थीं। ED अधिकारियों के मुताबिक, रहमान ने कथित तौर पर कई सारी शेल कंपनियां बनाईं और पैसे निकाले।

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ईडी ने 27 अक्टूबर को ज्योतिप्रिय मलिक को गिरफ्तार किया था।

ईडी ने 27 अक्टूबर को ज्योतिप्रिय मलिक को गिरफ्तार किया था।

भाजपा की मांग- घटना की NIA से जांच करवाई जाए
पश्चिम बंगाल में विपक्ष के नेता सुवेंदु अधिकारी ने ED की टीम पर हमले की निंदा करते हुए कहा कि राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति पूरी तरह चरमरा गई है। यह हमला दिखाता है कि रोहिंग्या राज्य में कानून-व्यवस्था के साथ क्या कर रहे हैं। मैंने गृह मंत्री अमित शाह से घटना की जांच NIA से करवाने की मांग की है।

केंद्रीय मंत्री निसिथ प्रमाणिक ने कहा कि संदेशखली में जो हुआ मैं उसकी निंदा करता हूं। किसी राज्य में जा रही केंद्रीय एजेंसी पर हमले से ज्यादा अपमानजनक कुछ नहीं हो सकता। यह सिर्फ टीम पर हमला नहीं है बल्कि पूरे संविधान, देश के संघीय ढांचे पर पर हमला है। पश्चिम बंगाल में ऐसी घटनाएं बार-बार हो रही हैं। हम जांच करेंगे कि ऐसा क्यों हो रहा है।

कांग्रेस ने कहा- आज हमला हुआ, कल हत्या हो सकती है
ED पर हुए हमले को लेकर कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि ED अधिकारियों पर सत्तारूढ़ सरकार के गुंडों के हमले के बाद यह स्पष्ट है कि राज्य में कोई कानून-व्यवस्था नहीं है। आज वे घायल हुए, कल उनकी हत्या की जा सकती है। यदि ऐसा होता है तो यह मेरे लिए आश्चर्य की बात नहीं होगी।

वहीं हमले को लेकर पुलिस अधिकारियों ने कहा कि उन्हें अब तक कोई आधिकारिक शिकायत नहीं मिली है। शिकायत मिलने पर हम कानून के अनुसार आवश्यक कार्रवाई करेंगे।

23 जुलाई को शिक्षक भर्ती घोटाले में अरेस्ट हुए TMC नेता, 49 करोड़ कैश मिला

23 जुलाई 2022 को ED ने कोलकाता के सरकारी आवास से पार्थ बनर्जी को शिक्षक भर्ती घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप में गिरफ्तार किया था। पार्थ पर आरोप है कि मंत्री रहते हुए उन्होंने नौकरी देने के बदले गलत तरीके से पैसे लिए। पार्थ की गिरफ्तारी के 5 दिन बाद ममता बनर्जी ने उन्हें कैबिनेट से बर्खास्त कर दिया था। पार्थ की करीबी अर्पिता के 2 फ्लैट पर 23 जुलाई और 28 जुलाई को ED ने छापेमारी की थी। इस कार्रवाई में उनके फ्लैट्स से 49 करोड़ रुपए कैश बरामद हुए थे। फिलहाल दोनों जेल में हैं।

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हरियाणा के पूर्व इनेलो MLA दिलबाग सिंह और उनके करीबियों के ठिकाने से एनफोर्समेंट डायरेक्टोरेट (ED) ने बड़ी बरामदगी की है। ED ने गुरुवार को रेड की थी। इसके बाद शुक्रवार को बताया कि इनके ठिकानों से अब तक 5 करोड़ रुपए कैश मिल चुका है।

 

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