भोले भक्तों के लिए दो क्विंटल खीर और एक क्विंटल पकौड़े का प्रसाद होगा तैयार
एस• के • मित्तल
जींद, शिवरात्रि पर्व को लेकर जहां अधिकांश मंदिरों को एक दिन पहले सजाया जा रहा था, वहीं शहर के महाभारतकालीन जयंती देवी मंदिर में महा रूद्राभिषेक कार्यक्रम की तैयारियों के साथ-साथ भोले का व्रत रखने वाले भक्तों के लिए सामकिये की दो क्विंटल खीर और एक क्विंटल पकौड़े का प्रसाद तैयार किया जा रहा था। पिछले कई दिनों से मंदिर में चल रहे रूद्राभिषेक कार्यक्रम में जो श्रद्धालु शिरकत कर रहे हैं, वहीं मंदिर को सजाने में जुटे हुए थे।
जींद, शिवरात्रि पर्व को लेकर जहां अधिकांश मंदिरों को एक दिन पहले सजाया जा रहा था, वहीं शहर के महाभारतकालीन जयंती देवी मंदिर में महा रूद्राभिषेक कार्यक्रम की तैयारियों के साथ-साथ भोले का व्रत रखने वाले भक्तों के लिए सामकिये की दो क्विंटल खीर और एक क्विंटल पकौड़े का प्रसाद तैयार किया जा रहा था। पिछले कई दिनों से मंदिर में चल रहे रूद्राभिषेक कार्यक्रम में जो श्रद्धालु शिरकत कर रहे हैं, वहीं मंदिर को सजाने में जुटे हुए थे।
मंदिर पुजारी नवीन कुमार शास्त्री ने बताया कि सावन मास के दूसरे सोमवार पर श्रीजयंती देवीमंदिर में रूद्राभिषेक किया गया। 26 जुलाई को महाशिवरात्रि पर मंदिर में चार प्रहर की पूजा का आयोजन किया जाएगा। इस दिन व्रतधारी भक्तों के लिए सामकिये की खीर व कट्टू के आटे के पकौड़े प्रसाद के रूप में प्रथम प्रहर की पूजा के साथ ही भक्तों में वितरित किये जाएंगे। उन्होंने बताया कि महाशिवरात्रि पर्व पर रूद्राभिषेक कार्यक्रम में प्रमुख समाज सेविका मीना शर्मा को भी आमंत्रित किया गया हैं। उन्होंने बताया कि सावन मास में भगवान शिव की पूजा का विशेष महत्व होता हैं। इस मास शिव पूजन का समय लंबा रहेगा। सावन मास के दूसरे सोमवार को प्रदोष व्रत हैं। इस दिन व्रत करने से जाने-अनजाने में किये गये दोषों से मुक्ति मिलती हैं।
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शिव रात्रि पर्व में पूजन से मिलेगा लाभ
जयंती देवी मंदिर के पुजारी नवीन कुमार शास्त्री ने बताया कि शिवरात्रि आद्र्रा नक्षत्र भगवान शिव पूजन लाभकारी, अभिलाषा व सुख-शांति प्रदान करने वाला होता हैं। इसलिए मंदिर में सोमवार के अलावा शिव रात्रि मंगलवार को भी चार प्रहर की पूजा की जाएगी। इस दौरान दूध-दही-घी-शहद-गंगाजल-सरसों तेल से शिवजी भोले का अभिषेक किया जाएगा।
शिव रात्रि पर्व में पूजन से मिलेगा लाभ
जयंती देवी मंदिर के पुजारी नवीन कुमार शास्त्री ने बताया कि शिवरात्रि आद्र्रा नक्षत्र भगवान शिव पूजन लाभकारी, अभिलाषा व सुख-शांति प्रदान करने वाला होता हैं। इसलिए मंदिर में सोमवार के अलावा शिव रात्रि मंगलवार को भी चार प्रहर की पूजा की जाएगी। इस दौरान दूध-दही-घी-शहद-गंगाजल-सरसों तेल से शिवजी भोले का अभिषेक किया जाएगा।