बिजली बिल संशोधन विधेयक को लेकर बिजली कर्मियों ने किया रोष प्रकट

एस• के • मित्तल 
सफीदों,          संसद में पेश होने वाले बिजली बिल संशोधन विधेयक-2022 के विरोध में शहरी, अर्ध शहरी एवं डिवीजन सब यूनिट सफीदों के बिजली कर्मचारियों ने सोमवार को प्रात: 9 से 11 बजे तक गेट मीटिंग का आयोजन। इस मौके पर कर्मचारियों ने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। इस प्रदर्शन की अध्यक्षता शहरी सब यूनिट प्रधान अनिल इंदल ने की। मंच का संचालन डिविजन सब यूनिट सचिव पवन कुमार ने किया।
इस मौके पर पहुंचे प्रदेश उपाध्यक्ष जय सिंह ने बताया सरकार संसद में बिजली संशोधन बिल 2022 में पेश करने जा रही है। सरकार केवल कुछ राशि में बिजली विभाग के पूर्ण तंत्र को निजी हाथों में किराए पर दे रही है। निजी कंपनियां घरेलू, नलकूप व छोटे कनेक्शन नहीं करेगी क्योंकि इन कनेक्शनों पर सरकार सब्सिडी देती है लेकिन निजी कंपनी बड़े और इंडस्ट्री के कनेक्शन जिनमें फायदा होगा वही कनेक्शन देंगे। सरकार की यह एक निजीकरण करने की चाल है कि बाद में घाटा दिखाकर पूर्ण रूप से निजीकरण कर दिया जाएगा। उन्होंने सरकार के निजीकरण व ठेकेदारी प्रथा की आलोचना करते हुए कहा कि यह विधेयक सीधा-सीधा कर्मचारी की नौकरी पर कुठाराघात है।
जिसे यूनियन किसी भी सूरत में सहन नहीं करेगी और जब तक यह फैसला वापस नहीं लिया जाता तब तक विरोध प्रदर्शन जारी रहेगा। इस मौके पर यूनिट प्रधान जितेंद्र भारद्वाज, कृष्ण सैनी, महेंद्र सिंह खेड़ा, संजय शर्मा, श्रीपाल, कपिल शर्मा, सोमदत्त, प्रदीप, दिलेर सिंह, विक्रमजीत सिंह, शमशेर सिंह, बिजेंद्र गुड्डू, रोहतास, अनिल पुनिया, शिव कुमार व दरवेश सैनी ने भी अपने विचार रखे।

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