हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड भिवानी ने 12वीं का परीक्षा परिणाम जारी किया जिसमें जिले का उल्लेखनीय योगदान सामने आया है। नॉन मेडिकल संकाय में बरहाना गांव की किरण देवी हरियाणा की टॉप टेन लिस्ट में है। उसके 493 अंक आए हैं, जबकि मेडिकल संकाय में रईया गांव की नैनू धनखड़ हरियाणा में टॉप फाइव में अपना स्थान बनाने में कामयाब रही, उसके 488 अंक आए हैं।
इसी तरह अच्छेज पहाड़ीपुर गांव के निजी स्कूल की छात्रा पायल के भी नॉन मेडिकल में 494 अंक आए हैं और उसने भी हरियाणा की टॉप टेन लिस्ट में स्थान बनाया है। इस तरीके से हरियाणा की टॉप टेन नॉन मेडिकल लिस्ट में झज्जर जिले की दो बेटियां शामिल हैं।
कोरोना काल के बाद इस बार बच्चों पर बोर्ड एग्जाम का प्रेशर काफी था। इससे पहले बच्चे पिछले 2 साल से दसवीं और ग्यारहवीं में मिले अंकों के आधार पर बिना परीक्षा दिए ही पास हो रहे थे। जिले की बात करें तो 8047 बच्चों ने 12वीं परीक्षा के लिए रजिस्ट्रेशन किया था। इनमें 7649 बच्चे परीक्षा में शामिल हुए। इस तरह जिलेभर में पास होने वाले बच्चों का प्रतिशत 88.57 रहा, जबकि 913 बच्चों की कंपार्टमेंट आई है।
किरण प्रोफ़ेसर बन पूरा करना चाहती है पिता का सपना
बरहाना गांव निवासी किरण देवी पिता यशपाल अहलावत का सपना एक प्रोफेसर बनकर पूरा करना चाहती है। दसवीं पास पिता यशपाल ट्रैक्टर चलाता है। घर में पढ़ाई का कोई खास माहौल नहीं है।
किरण की मां राजेश देवी भी छठवीं क्लास पास है और वह हाउस वाइफ है लेकिन इन दोनों माता-पिता का सपना है कि उनकी बेटी किरण शिक्षा के मामले में नए पायदान पर चढ़े और साथ ही अपने छोटे भाई आयुष को भी शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ाए, जिसने अभी दसवीं की परीक्षा दी है। किरण का कहना है कि वह रोजाना 8 से 9 घंटे पढ़ाई करती थी उसको यकीन था कि 12वीं की परीक्षा में वह टॉप टेन में ही स्थान बनाएगी।
किसानी करने वाले पिता और मां का सपना डॉक्टर बनकर पूरा करना चाहती है नैनू
रईया गांव निवासी किसान कर्मवीर की पुत्री नैनू धनकड़ माता-पिता क सपना डॉक्टर बनकर पूरा करना चाहती है। पिता कर्मवीर 12वीं पास है जबकि मां अनीता दसवीं क्लास तक पढ़ी है दोनों की इच्छा है कि उनकी दाे बेटी एमबीबीएस डॉक्टर बनकर परिवार का नाम रोशन करें नैनू की बड़ी बहन तनु बीएससी की पढ़ाई कर रही है जबकि छोटा भाई मनु 12वीं क्लास में है।
घर में शिक्षा का माहौल तीनों भाई बहनों ने ही बनाया है। नैनू ने कहा कि जिस तरीके से उसने 12वीं क्लास की तैयारी की थी उसे लग रहा था कि वह मेडिकल संकाय में हरियाणा की टॉप टेन लिस्ट में अपना स्थान जरूर बनाएगी और 488 अंक लेकर वह पांचवें स्थान पर है। स्कूल निदेशक रवींद्र कुमार ने बताया कि तनु ने दसवीं कक्षा मैं भी बेहतर अंक लिए और वे हरियाणा की टॉप टेन सूची में सातवें स्थान पर रही थी।
स्कूल में चल रहे सिलेबस से रही आगे, रोजाना 6 घंटे नियमित पढ़ाई की
नैनू धनखड़ ने बताया कि उसने पहले से ही प्लान बना लिया था कि मेडिकल संकाय में उसे बेहतरीन पोजीशन लानी है। सिलेबस के साथ-साथ पढ़ाई करने की बजाय उसने घर पर अतिरिक्त रूप से सिलेबस से आगे पढ़ाई जारी रखी। नैनू ने कहा कि परीक्षा होने से पहले ही उसने सिलेबस कंप्लीट करके रोजाना पांच से 6 घंटे रिवीजन पर ध्यान दिया।