दिव्यांग बच्चों ने अपने अंदाज दी शिक्षकों को बधाई
एस• के• मित्तल
जींद, दर्पण स्पेशल स्कूल में सोमवार को डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन जी का जन्मदिवस शिक्षक दिवस के रूप में मनाया गया। विशेष शिक्षकों द्वारा दिव्यांग बच्चों को शिक्षक दिवस का महत्व समझाया गया। दिव्यांग बच्चों ने लिखकर, स्पीच देकर, म्यूजिक, डांस, स्पोर्ट गेम के द्वारा अपने-अपने अंदाज में शिक्षकों को बधाई देकर इस दिन को विशेष बना दिया।
संस्थान के निदेशक डॉ• आशुतोष ने कहा कि हर व्यक्ति के जीवन में उसके शिक्षक का सबसे महत्वपूर्ण स्थान होता है। उसे भगवान का दर्जा भी दिया गया है।
संस्थान के निदेशक डॉ• आशुतोष ने कहा कि हर व्यक्ति के जीवन में उसके शिक्षक का सबसे महत्वपूर्ण स्थान होता है। उसे भगवान का दर्जा भी दिया गया है।
चौधरी ने बताया कि ऐसे बच्चों के लिए शिक्षक की भूमिका बहुत अहम होता है, क्योंकि बच्चों को सुनने, बोलने, चलने और समझने में कठिनाई ज्यादा होती है, इसलिए ऐसे बच्चों को संभालने में अध्यापकों को ज्यादा समस्याओं का सामना करना पड़ता है। लेकिन ऐसी परिस्थितियों को दूर करने के लिए विशेष शिक्षा में डिग्री किये शिक्षक ही दिव्यांग बच्चों को अच्छी तरह से देखभाल और उन्हें आत्मनिर्भर बना सकते हैं।
कोर्स को-ओर्डिनेटर देवेंद्र अहलावत ने कहा कि दिव्यांगों ने साबित किया है कि हुनर किसी का मोहताज नहीं होता। उन्हें बस एक अच्छे मार्गदर्शक की जरूरत होती है और शिक्षक इसमें अहम भूमिका निभाते हैं। इस मौके पर दर्पण कम्युनिकेशन सोसायटी के कार्यकारिणी सदस्य अर्चना, डॉ. राजेश्वर, जयपाल, कांता, जगदीश, कोर्स को-ओर्डिनेटर देवेंद्र अहलावत, विशेष शिक्षक रेखा, प्रमोद, भारती, काजल, सुनैना आदि उपस्थित रहे।