पराली जलाने पर 15 हजार जुर्माना व एफआईआर हो सकती है दर्ज: एसडीएम

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एस• के• मित्तल 
सफीदों,    खेतों में किसानों को पराली जलाने से रोकने के लिए एसडीएम मनीष कुमार फोगाट ने अपने कार्यालय में अधिकारियों की बैठक ली। बैठक में नायब तहसीलदार सफीदों रासविंद्र, नायब तहसीलदार पिल्लूखेड़ा लोकेश शर्मा, बीडीपीओ राज सिंह, एडीओ संजीव व रविंद्र रेढू विशेष रूप से मौजूद थे। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे अपने-अपने इलाके में ध्यान रखकर किसी भी रूप में पराली को जलाने से रोकें।
इसके लिए किसानों को पहले समझाएं और जागरूक करें अन्यथा उनके खिलाफ कार्रवाई करें। एसडीएम मनीष फोगाट ने कहा कि पराली जलाना कानूनी अपराध भी है और एक बुराई भी है। पराली जलाने वाले के खिलाफ एफआईआर व 15 हजार रूपए जुर्माने का प्रावधान है। उन्होंने कहा कि किसानों को पराली ना जलाकर उसका प्रबंधन करना चाहिए। इससे पर्यावरण तो सुरक्षित रहेगा ही साथ ही साथ उनकी आमदन में भी काफी इजाफा होगा। पराली प्रबंधन को लेकर सरकार की ओर से बहुत स्कीमें चलाई हुईं है और किसान उन स्कीमों का लाभ प्राप्त कर सकतेे है। उन्होंने कहा कि
पराली जलाने से यह असर होता है कि भूमि की उर्वरा शक्ति खत्म होती है, भूमि में पल रहे मित्र कीट केंचुआ नष्ट हो जाते हैं, मिट्टी में पाए जाने वाले लाभकारी सूक्ष्म जीवाणु जैसे रायजोबियम, एजेटोबेक्टर और एजोस्पैरिलम आदि नष्ट हो जाते हैं। कार्बन डाई-आक्साईड की मात्रा ज्यादा बनने से पर्यावरण को नुकसान होता है। उन्होंने किसानों से भी आह्वान किया कि वे पराली को ना जलाएं बल्कि उसको उपयोग में लाएं।
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