हार जीत तो प्रतियोगिता का हिस्सा है, बच्चों को प्रतियोगिता में देना चाहिए अपना सौ प्रतिशत

पढ़ाई के साथ-साथ बच्चे स्कूलों में होने वाली गतिविधियों में भी लेें हिस्सा

बच्चे हमारे ही नहीं बल्कि देश का भविष्य है, उनकी कार्यशैली के अनुसार ही स्वयं को ढ़ालें

बच्चे साकारात्मक दिशा में ही चलें व्यर्थ में मोबाईल एवं टीवी देखकर अपना कीमती समय न गवाएं: उपायुक्त डाॅ• मनोज कुमार

एस• के• मित्तल   
जींद,      बाल भवन जींद के परिसर में बाल दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित पुरस्कार वितरण समारोह में विभिन्न बाल प्रतियोगिताओं में विजेता रहे बच्चों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया। समारोह में बतौर मुख्य अतिथि उपायुक्त डाॅ• मनोज कुमार एवं जिला नगरायुक्त सुरेन्द्र बैनिवाल ने शिरकत की।
समारोह की अध्यक्षता हिसार मण्डल बाल कल्याण अधिकारी कमलेश चाहर ने की। समारोह की शुरूआत उपायुक्त डाॅ• मनोज कुमार ने द्वीप प्रज्वलित कर की। उन्होंने पण्डित जवाहर लाल नेहरू की प्रतिमा के सम्मुख माल्यार्पण किया एवं पुष्प अर्पित किये। कार्यक्रम में उपायुक्त ने चाईल्ड लाईन से दोस्ती शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करके लोगों विशेषकर बच्चों को चाईल्ड हैल्प लाईन 1098 का लाभ उठाने अपील की। नगरायुक्त सुरेन्द्र बैनिवाल, जिला बाल कल्याण अधिकारी अनिल कुमार, महिला एंव बाल विकास विभाग की कार्यक्रम अधिकारी सीमा प्रसाद, बाल कल्याण परिषद के चेयरपर्सन नरेन्द्र अत्री व अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने भी चाईल्ड लाईन से दोस्ती एवं शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करके बच्चों को संदेश दिया।
इस अवसर पर उपायुक्त ने कार्यक्रम में उपस्थित सभी का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि बच्चों को पढ़ाई के साथ-साथ स्कूल में होने वाली गतिविधियों में भी हिस्सा जरूर लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि विद्यार्थी जीवन में पर्सनलटी डेवलपमेंट भी बहुत जरूरी है, किसी भी प्रतियोगिता में हार जीत तो प्रतियोगिता का हिस्सा है परंतु बच्चों को किसी भी प्रतियोगिता में अपना सौ प्रतिशत अवश्य देना चाहिए। उन्होंने बच्चों के अभिभावकों एवं स्कूली शिक्षकों का आह्वान किया कि बच्चे हमारा भविष्य है और हमें उनकी कार्यशैली के अनुसार ही स्वयं को ढ़ालना होगा।
उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए जिला बाल कल्याण अधिकारी एवं उनका स्टॉफ  बधाई का पात्र है। उन्होंने विद्यार्थियों से कहा कि विद्यार्थियों को विभिन्न क्षेत्र में आगे आने की मदद करने के लिए विभिन्न संस्थाएं काम कर रही है। इसलिए बच्चे अपने जीवन में आगे आएं जिला की पूरी ईकाई बच्चों के भविष्य के लिए उनके साथ खड़ी है। उन्होंने कहा कि हमारे जिला के बच्चे इंटरनेशनल स्तर पर देश के लिए मेडल जीतकर भी आए हैं और अपने देश का नाम रोशन किया है।
उपायुक्त डाॅ• मनोज कुमार ने बच्चों को सदेंश देते हुए कहा कि वे सकारात्मक दिशा में चले व व्यर्थ में टीवी व मोबाईल पर अपना कीमती समय न गवाएं और उस समय से अपने आसपास के लोगों व प्रकृति से जुड़े और अपने स्वास्थ्य के प्रति सजग रहे। उन्होंने कहा कि दिव्यांगों को मदद जरूर करें व उनसे सहानुभूति रखें। दिव्यांगोंजनो को कभी भी उनके दिव्यांगता का अहसास न होने दे। इस अवसर पर उपायुक्त महोदय का बाल कल्याण परिषद के अधिकारियों द्वारा स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। इस अवसर पर नगरायुक्त सुरेन्द्र बैनिवाल ने बच्चों को शुभकामना दी।
उन्होंने अपने संदेश में कहा कि हमें बच्चों को उन्मुक्त वातावारण में छोडऩा चाहिए, उन पर अपनी इच्छाएं नही थोपनी चाहिए। बच्चे उन्मुक्त गगन के होते है इनको बेवजह के बंधन में ना बांधे, इनकी स्नेह व भावनाओं को समझे। उन्होंने कहा कि बच्चों पर किसी भी प्रकार की कटुभाषा का प्रयोग ना करे जिससे इनके दिमाग पर नकारात्मक असर पड़ता हो। उन्होंने अभिभावक व टीचर को कहा कि वे बच्चों की साईकलोजी को समझकर बात करें और उनको स्नेह के साथ ही कार्य करवाया जाए।
हिसार मण्डल बाल कल्याण अधिकारी कमलेश चाहर नेे बच्चों के नाम राज्यपाल के संदेश को पढक़र सुनाया और उन्होंने बताया कि बाल भवन के द्वारा 18 वर्ष तक के बच्चों के लिए ज्ञान वर्धक व स्वास्थ्य वर्धक गतिविधियां चला रही है, जिनमें कम्प्यूटर केन्द्र, क्रॉफट केन्द्र, शिशुपालन केन्द्र, बाल पुस्तकालय, मॉडल डे-केयर केन्द्र, प्रतिभा खोज कार्यक्रम आदि शामिल है। इसके अलावा परिवार परामर्श केन्द्र व अन्य कार्यक्रम भी चलाए जा रहे है। उन्होंने इस महत्वपूर्ण दिवस पर बच्चों के उज्जवल भविष्य की भी कामना की और बच्चों से कड़ी मेहनत करने की आवश्यकता पर बल दिया ताकि बच्चे ऊंचे से ऊंचा मुकाम हासिल कर सकें। इससे पूर्व उन्होंने परिषद द्वारा संचालित विभिन्न कार्यक्रमों व अन्य गतिविधियों बारे उपयोगी जानकारी दी।
इस अवसर पर विभिन्न स्कूली बच्चों द्वारा देश भक्ति, हरियाणवी संस्कृति व कला से ओतप्रोत भव्य सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किया गया। इसमें शिक्षाप्रद व प्रेरणादायक गीतों व भजनों के माध्यम से बाल दिवस के महत्व पर प्रकाश डाला गया। इस सांस्कृतिक कार्यक्रम में बच्चों के द्वारा दी गई प्रस्तुति ने सबका मन मोह लिया। अभिभावक एवं दर्शकों द्वारा बच्चों की मंत्रमुग्ध शानदार प्रस्तुतियों पर तालियां बजाकर बच्चों का मनोबल बढ़ाया गया। इस अवसर पर बाल संरक्षण अधिकारी श्रीमती सुजाता, संरक्षण अधिकारी जोनी नरवाल, पीओ मलकीयत चहल व अन्य प्रतियोगिताओं के बाल विजेता भी मौजूद रहे।

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