नवरात्रों पर दुल्हन की तरह सजे मंदिर

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एस• के• मित्तल
जींद, नवरात्रों के शुभारंभ पर मां भगवती के रंग में रंगने के लिए श्रद्धालुओं ने जहां पूजा-अर्चना और व्रत की तैयारी के लिए शुक्रवार को बाजार में जमकर खरीददारी की, वहीं मंदिर भी दुल्हन की तरह सजा दिये गए। प्रत्येक दुकान पर लाल चुनरी, नारियल, श्रंृगार और प्रसाद भरे पड़े है। नवरात्रों को लेकर प्रसिद्ध महाभारत कालीन जयंती देवी मंदिर, सोमनाथ मंदिर, प्राचीन भूतेश्वर मंदिर, माता वैष्णवी धाम, रघुनाथ मंदिर में नवरात्र पर्व को लेकर तैयारियां पूर्ण कर ली गई हैं। जयंती देवी मंदिर में रंग-बिरंगी बिजली की लडिय़ां लगाई गई हैं। मंदिर प्रांगण की सजावट के अलावा मूर्तियों का श्रंगार भी किया गया है। जयंती देवी मंदिर के पुजारी नवीन शास्त्री ने बताया कि नवरात्रों की सभी तैयारियों को पूरा कर लिया गया है। नवरात्रों में नौ के नौ दिन अखंड ज्योत जलेगी, वहीं हर रोज सायंकालीन हवन-यज्ञ किया जाएगा। पुजारी नवीन शास्त्री ने बताया कि चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से हिंदू नववर्ष यानि कि नव विकर्मी संवत का प्रथम दिन माना जाता हैै।
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इसी दिन से चैत्र नवरात्रि भी आरंभ होती हैं। इस बार चैत्र नवरात्रि का पर्व 2 अप्रैल शनिवार से प्रारंभ होगा जो 11 अप्रैल को समाप्त होगा। शास्त्री ने बताया कि नवरात्रि के नौ दिन मां आदिशक्ति की उपासना करने के लिए बहुत विशेष माने जाते हैं। मां के भक्त इस नवरात्रि में नौं दिनों तक मां के 9 स्वरूपों शैलपुत्री माता, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघंटा, कूष्माण्डा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी और मां सिद्धिदात्री की उपासना व्रत रखकर करते हैं।
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